img

भगवान शिव को अभी दुखों का संहारक माना जाता है। कहते है के उनकी व्यक्ति के सभी कष्ट दूर हो जाते हैं । भगवान शिव को हर हर महादेव कहा जाता है इसका अर्थ होता है सभी कष्टों को हरने वाला हैी 24 अगस्त यानी कल भाद्रपद कृष्ण पक्ष की त्रयोदशी तिथि है I हर महीने की त्रयोदशी की तिथि को प्रदोष व्रत रखा जाता है । ये तिथि भगवा शिव को अत्यंत प्रिय है।

हिन्दू पंचांग में बताया गया है कि 24 अगस्त दिन बुधवार को प्रात: 8 बजकर 32 मिनट पर द्वादशी की तिथि समाप्त हो जाएगी और त्रयोदशी की तिथि का शुभारंभ हो जायेगा। इसी दिन प्रदोष व्रत रखा जाएगा। इस दिन प्रदोष काल शाम 6 बजकर 52 मिनट से रात्रि 9 बजकर 4 मिनट तक रहेगाI इस दिन शुभ एक बेहद दुर्लभ योग बन रहा है।

कर्क राशि में चंद्रमा का प्रवेश

आपको बता दें के चंद्रमा भगवान शिव के मस्तक पर विराजते हैंI इस बार प्रदोष के दिन न चंद्रमा का राशि परिवर्तन हो रहा हैI पंचांग के अनुसार प्रात: 6 बजकर 56 मिनट पर चंद्रमा मिथुन राशि को छोड़कर कर्क राशि में प्रवेश कर जायेंगेI चंद्रमा कर्क राशि का स्वामी ग्रहभी है। ज्योतिष शास्त्र के मुताबिक चंद्रमा को मन और माता का कारक भी हैI ऐसे में इस दिन शिव जी की पूजा का विशेष संयोग बन रहा है।

इन बातों का रखें ध्यान

प्रदोष व्रत में शिव जी की पूजा करते समय कुछ विशेष बातों का विशेष ध्यान रखना चाहिए। इन बातों का ध्यान रखने से भगवान शिव त जल्द प्रसन्न होते हैं और भक्त की सभी मनोकामनाएं पूरी करते हैं।

तुलसी की मंजरियां चढ़ाने से शिव प्रसन्न होते हैं।
आक और धतूरे का फूल अर्पित करना चाहिए ।
भगवान शिव की पूजा माता पार्वती के बिना नहीं करनी चाहिए।
भगवान भोलेनाथ को गंगाजल, कच्च दूध, दही, शहद, जल से स्नान कराएं।
ऊॅं नम: शिवाय का जाप करें।

Heavy Rain: पानी-पानी हुआ भोपाल, सड़कों पर चली नाव, बारिश रोकने के लिए कराया मेढ़क-मेढ़की का तलाक

Viral Video: छोटे बच्चे ने सिखाया सक्सेज मंत्र , बार-बार गिरा पर नहीं मानी हार

--Advertisement--