नई दिल्ली ।। उत्तर प्रदेश में समाजवादी पार्टी के साथ हाथ के मिलाने के बाद बहुजन समाज पार्टी की मुखिया मायावती ने कुछ हटकर चुनाव की तैयारी शुरू कर दी है।

दरअसल, बसपा अध्यक्ष मायावती लोकसभा चुनाव तक किसी पार्टी के भरोसे नहीं रहना चाहती इसलिए उन्होंने 80 सीटों पर प्रभारी नियुक्त कर दिए हैं। बसपा में प्रभारी नेताओं को उम्मीदवार के तौर पर देखा जाता है।
तो वहीं दूसरी ओर उनके इस कदम से एक और बात सामने निकल कर सामने आ रही है कि मायावती खुद प्रधानमंत्री बनना चाह रहीं है। इसके लिए उन्होंने उत्तर प्रदेश नहीं दूसरे राज्यों में भी अपनी तैयारी शुरू कर दी है।
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बताया जा रहा है कि बसपा अध्यक्ष कांग्रेस से काफी खफा हैं और मायावती कांग्रेस से समझौते के मूड में नहीं है। इसी बीच वह खुद प्रधानमंत्री बनने की तैयारी में जुट गयी हैं। इस उद्देश्य की प्राप्ति के लिए वह फूंक-फूंक कर कदम रख रही हैं। आपको बता दें कि बसपा अध्यक्ष मायावती ने कर्नाटक में एचडी देवेगौड़ा के जनता दल (एस) के साथ गठबंधन कर लिया है। तो वहीं दूसरी तरफ हरियाणा में इनैलो के साथ सीटों के बंटवारे पर समझौता हो गया है।
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यह भी बताया जा रहा है कि कांग्रेस अपने वोट को बीएसपी में स्थानांतरित नहीं करवा सकती। इस वजह से मायावती को कांग्रेस के साथ गठबंधन करने का कोई फायदा नहीं है। उन्होंने 2019 के लोकसभा चुनाव में 100 सीटों का लक्ष्य रखा है और वह राज्य दर राज्य गठबंधन कर रही हैं। यह
कदम उनके पहले की चुनावी रणनीति से अलग है।

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