राजस्थान में सियासी हवा जोर पकड़ चुकी है। नामांकन के लिए विधायक, मंत्री दिल्ली और जयपुर के दौरे कर रहे हैं। वहीं, मारवाड़ी समाज के किसान नेता और गहलोत सरकार में कैबिनेट मंत्री हेमाराम चौधरी ने चुनाव लड़ने से मना कर दिया है। चौधरी के इस फैसले से उनके समर्थकों को झटका लगा है। सोमवार को हजारों समर्थकों की मौजूदगी में हेमाराम चौधरी को कार्यकर्ताओं ने इलेक्शन लड़ने के लिए घेर लिया।
समर्थकों की इस हुजूम में कई लोगों की आंखों में आंसू थे। कुछ ने तो अपनी पगड़ियां उतार कर हेमाराम के पैरों पर रख दीं। किंतु, हेमाराम चौधरी ने चुनाव नहीं लड़ने की जिद बरकरार रखी।
उन्होंने कहा कि मैं इलेक्शन नहीं लड़ना चाहता था क्योंकि मैं जनता का काम नहीं कर सकता था। हेमाराम चौधरी सचिन पायलट गुट के सबसे करीबी नेता हैं।
चौधरी के समर्थकों ने कहा कि आज बहुत कम नेता हैं जो ईमानदारी से कार्य करते हैं। हेमाराम चौधरी पर एक रुपये के भी भ्रष्टाचार का आरोप नहीं लगा। चौधरी आधी रात को भी सार्वजनिक कार्यों के लिए मौजूद रहते हैं। ऐसे नेता हमारी विधानसभा में दोबारा नहीं होंगे। इसके लिए हम मांग कर रहे हैं कि चौधरी को इलेक्शन लड़ना चाहिए।
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