छत्तीसगढ़ स्थित सुकमा से नक्सलियों से जुड़ी एक ताजी खबर प्रकाश में आई। दरअसल, यहां नक्सलियों के कोन्टा एरिया कमेटी के सचिव मंगडू द्वारा जारी प्रेस नोट में बताया कि पिछले 08 मई को सुकमा जिला के दंतेशपुरम में फर्जी एनकाउंटर में मड़काम एर्रा और मड़काम भीमे को पुलिस फोर्स द्वारा घर से उठाकर ले गए और उनका बीच रास्ते में ही एनकाउंटर के नाम से हत्या कर शव को सुकमा ले गए।
पोस्टमॉर्टम के बाद घरवालों को शव न देकर भेज्जी थाना में पुलिस फोर्स द्वारा भेज्जी के जनता को डरा धमकाकर जलवाया गया है। शव लेने गये घरवालों में संतोष मड़काम (शिक्षादूत), वेको हिड़मा मड़काम कोसा, पोड़ियाम मासे, पोड़ियाम हन्दा सहित कुल नौ लोगों को पुलिस हिरासत में रखकर पूछताछ करते हुये अलग अलग तरह का यातना दे रहे हैं।
नौ साल पहले सन् 2014 में हुए घटना को याद करते हुए कहा कि पहली बार ऐसा मामला कोंटा क्षेत्र में देखने को मिला है। उन्होंने कहा कि सलवा जुडूम जैसा ही क्रूर हत्या और मृत शरीर को परिजनों द्वारा लेने जाने पर भी नहीं देकर दफनाना व जलाने का काम शुरू हुआ है।
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