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Death Capsule: आज के समय में आत्महत्या करने वालों की तादाद तेजी से बढ़ती जा रही है। कुछ लोग अपनी जिंदगी से खुश नहीं हैं तो कुछ अपनी किस्मत को लेकर निराश हैं। दुनिया के लगभग सभी देशों में इच्छामृत्यु पर प्रतिबंध है और भारत में आत्महत्या अपराध की श्रेणी में आती है मगर एक देश ऐसा भी है जहां लोग अपनी मर्जी से आत्महत्या कर सकते हैं।
स्विट्जरलैंड दुनिया का एकमात्र ऐसा देश है जहां लोग स्वेच्छा से 'सुसाइड' कर सकते हैं, हालांकि इसमें एक शर्त है। शर्त यह है कि मरने की इच्छा रखने वाला व्यक्ति किसी गंभीर बीमारी से पीड़ित हो।
इतना ही नहीं, एक डेथ कैप्सूल भी तैयार किया गया है, जिससे बिना किसी दर्द के मौत हो सके। स्विस मीडिया के मुताबिक, इस डेथ कैप्सूल का इस्तेमाल पहली बार होने जा रहा है।
मौत का ये कैप्सूल किसने बनाया?
स्विट्जरलैंड की एक कंपनी ने सारको डेथ कैप्सूल बनाया है। जिसमें बैठने के कुछ ही सेकेंड के अंदर व्यक्ति की मौत हो जाती है. डेली मेल से बात करते हुए डेथ कैप्सूल बनाने वाले डॉक्टर फिलिप निट्स्के ने इस कैप्सूल के बारे में बताया है. डॉ. फिलिप के मुताबिक, यह कैप्सूल उन लोगों की मदद करेगा जो बिना किसी दर्द के मरना चाहते हैं।
जुलाई के लिए SARCO के लाइव उपयोग की योजना बनाई गई है, जिसके तहत एक ऐसे व्यक्ति का भी चयन किया जाएगा जो इच्छामृत्यु चाहता है। एक्ज़िट स्विट्ज़रलैंड वेबसाइट पर कैप्सूल की छवि के नीचे 'कमिंग सून' लिखा हुआ है।
ऐसे काम करता है कैप्सूल?
डॉ. फिलिप निश्चेके के मुताबिक, जो भी इस मशीन पर चढ़ेगा उससे तीन सवाल पूछे जाएंगे। सबसे पहले आप कौन हैं? दूसरा, आप कहां हैं?' और तीसरी बात, क्या आप जानते हैं कि बटन दबाने से क्या होगा? इसके बाद व्यक्ति को बोलकर जवाब देना होता है, जवाब देते ही कैप्सूल में मौजूद सॉफ्टवेयर बिजली चालू कर देता है, जिसके बाद उसमें लगा बटन सक्रिय हो जाता है। बटन दबाते ही आपकी मौत हो जायेगी।
डॉ. फिलिप के मुताबिक, जब कोई व्यक्ति सार्को में जाता है तो उसका ऑक्सीजन लेवल 21 फीसदी होता है. मगर बटन दबाते ही ऑक्सीजन को एक प्रतिशत से नीचे जाने में 30 सेकंड का समय लगता है। तो वहीं कई जगहों पर इसका विरोध भी हो रहा है।