
Up Kiran, Digital Desk: आंध्र प्रदेश में डेंगू के बढ़ते खतरे को देखते हुए, स्वास्थ्य अधिकारियों ने इसके प्रसार को रोकने के लिए कड़े कदम उठाने पर जोर दिया है। यह एक महत्वपूर्ण चेतावनी है, खासकर मानसून के मौसम में जब मच्छरों के पनपने की संभावना बढ़ जाती है।
अधिकारियों ने कहा है कि डेंगू एक गंभीर बीमारी है जिसे हल्के में नहीं लेना चाहिए। उन्होंने समुदायों और स्थानीय निकायों से सक्रिय रूप से निवारक उपायों में शामिल होने का आग्रह किया है। इन उपायों में शामिल हैं:
स्वच्छता: अपने आसपास पानी जमा न होने देना, क्योंकि मच्छर साफ पानी में पनपते हैं।
मच्छर नियंत्रण: मच्छरों के प्रजनन स्थलों को नष्ट करना, जैसे कूलर, गमले, पुराने टायर और अन्य जगहों पर जमा पानी को नियमित रूप से खाली करना।
जागरूकता: लोगों को डेंगू के लक्षणों और बचाव के तरीकों के बारे में शिक्षित करना।
प्रारंभिक निदान और उपचार: यदि किसी को बुखार या डेंगू के लक्षण महसूस हों, तो तुरंत डॉक्टर से संपर्क करना।
स्वास्थ्य विभाग ने सभी संबंधित विभागों को मिलकर काम करने और एक व्यापक कार्ययोजना लागू करने का निर्देश दिया है। इसका लक्ष्य है कि बीमारी के फैलने से पहले ही उस पर काबू पा लिया जाए।
यह सुनिश्चित करना हर नागरिक और प्रशासन की सामूहिक जिम्मेदारी है कि हमारा वातावरण स्वच्छ रहे और मच्छर जनित बीमारियों को फैलने से रोका जा सके। 'सावधानी ही बचाव है' – यह मंत्र डेंगू के खिलाफ हमारी सबसे बड़ी ढाल है।
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