_1512536410.png)
Up Kiran, Digital News: ऐसे समय में जब भारत और पाकिस्तान के बीच तनाव चरम पर है रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह का ये बयान – "भारतीय सेना का असर रावलपिंडी तक महसूस किया गया" सिर्फ एक बयान नहीं बल्कि एक रणनीतिक चेतावनी थी। इस खबर में हम बात करेंगे उस ऑपरेशन की जो सिर्फ एक सैन्य कार्रवाई नहीं बल्कि भारत की सामरिक सोच राजनीतिक इच्छाशक्ति और तकनीकी ताकत का सम्मिलित प्रदर्शन था ऑपरेशन सिंदूर।
राजनाथ सिंह का बयान क्यों बना सुर्खी
रविवार को लखनऊ में ब्रह्मोस एयरोस्पेस इंटीग्रेशन और टेस्टिंग सुविधा के उद्घाटन के दौरान रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने जो कहा वो सिर्फ पाकिस्तान के लिए नहीं बल्कि पूरी दुनिया के लिए एक स्पष्ट संदेश था।
उन्होंने कहा कि हमारी कार्रवाई सिर्फ सीमावर्ती चौकियों तक सीमित नहीं थी। असर रावलपिंडी तक महसूस किया गया जहां पाकिस्तानी सेना का मुख्यालय है। ये सिर्फ शब्दों का खेल नहीं था बल्कि संकेत था कि भारत की नई सैन्य रणनीति में दूरी या अंतरराष्ट्रीय दबाव अब बाधा नहीं हैं।
भारत की चुपचाप दहाड़ने वाली मिसाइल
उसी मौके पर जब राजनाथ सिंह ने 300 करोड़ रुपये की अत्याधुनिक ब्रह्मोस सुविधा का वर्चुअल उद्घाटन किया तब एक संदेश और भी साफ हो गया — भारत अब सिर्फ रक्षा नहीं करता जवाब देना भी जानता है वो भी सटीक और तेज़।
इस ऑपरेशन के तहत भारतीय सेना ने पाकिस्तान के अंदर मौजूद आतंकवादी ठिकानों और सैन्य बुनियादी ढांचे को बेहद सटीकता से निशाना बनाया। बहावलपुर, रफीकी, नूर खान जैसे एयरबेस और सियालकोट, पसरूर के रडार स्टेशन इस कार्रवाई का हिस्सा बने।
--Advertisement--