img

Up Kiran, Digital Desk: भारतीय खेल प्राधिकरण (SAI) ने भारतीय टेनिस खिलाड़ियों को एक कड़ा संदेश दिया है: राष्ट्रीय कर्तव्य को हमेशा व्यक्तिगत प्राथमिकताओं और व्यावसायिक प्रतिबद्धताओं से ऊपर रखें। साई ने भारतीय टेनिस फेडरेशन (AITA) के साथ मिलकर यह स्पष्ट किया है कि डेविस कप और बिली जीन किंग कप जैसे महत्वपूर्ण टीम आयोजनों में देश का प्रतिनिधित्व करना खिलाड़ियों की पहली प्राथमिकता होनी चाहिए।

क्या है पूरा मामला?

दरअसल, कुछ समय से यह देखा जा रहा है कि कई शीर्ष भारतीय टेनिस खिलाड़ी व्यक्तिगत टूर आयोजनों या वित्तीय लाभ वाले टूर्नामेंटों को राष्ट्रीय टीम के मैचों पर तरजीह दे रहे हैं। इससे डेविस कप (पुरुषों) और बिली जीन किंग कप (महिलाओं) जैसे टूर्नामेंटों में भारत की टीम की ताकत कमजोर हो रही है, क्योंकि कई बार मुख्य खिलाड़ी अनुपस्थित रहते हैं।

साई ने इस मुद्दे को गंभीरता से लिया है। उन्होंने AITA के साथ मिलकर एक बैठक की, जिसमें खेल मंत्रालय के प्रतिनिधियों ने भी भाग लिया। इस बैठक में सर्वसम्मति से यह निर्णय लिया गया कि राष्ट्रीय टीम के प्रतिनिधित्व को सर्वोच्च प्राथमिकता दी जानी चाहिए।

साई और AITA का संयुक्त बयान

साई और AITA ने एक संयुक्त बयान जारी कर कहा है कि डेविस कप और बिली जीन किंग कप में भागीदारी केवल देश के प्रति सम्मान का प्रतीक नहीं है, बल्कि यह देश में टेनिस के विकास और युवा खिलाड़ियों को प्रेरित करने के लिए भी महत्वपूर्ण है। खिलाड़ियों को यह समझना होगा कि वे देश का प्रतिनिधित्व करते हैं और उनका यह कर्तव्य उन्हें व्यक्तिगत लाभ से अधिक महत्वपूर्ण होना चाहिए।

परिणाम और भविष्य की रणनीति

यह उम्मीद की जा रही है कि इस स्पष्ट निर्देश के बाद, भविष्य में कोई भी शीर्ष खिलाड़ी राष्ट्रीय टीम की भागीदारी से इनकार नहीं करेगा। साई और AITA इस बात पर भी विचार कर रहे हैं कि क्या ऐसे खिलाड़ियों के खिलाफ कोई अनुशासनात्मक कार्रवाई की जाए जो बार-बार राष्ट्रीय कर्तव्य से बचते हैं। इसका उद्देश्य भारतीय टेनिस में अधिक अनुशासन और प्रतिबद्धता लाना है ताकि अंतरराष्ट्रीय स्तर पर भारत का प्रदर्शन और बेहतर हो सके। यह कदम भारतीय खेल के लिए एक स्वस्थ मिसाल कायम करेगा, जहां देश का गौरव हमेशा सबसे ऊपर रहेगा।

--Advertisement--