
उत्तर प्रदेश में सावन 2025 के मद्देनज़र प्रशासन ने कांवड़ यात्रा को लेकर सख्ती बढ़ा दी है। खासकर श्रद्धालुओं की धार्मिक भावनाओं को ध्यान में रखते हुए एक अहम फैसला लिया गया है। इस बार एक ही जगह पर मांसाहारी और शाकाहारी भोजन नहीं बेचा जा सकेगा, खासकर उन दुकानों पर जो कांवड़ रूट के पास स्थित हैं।
यह निर्णय उत्तर प्रदेश के एक जिले में लिया गया है, जहां हर साल बड़ी संख्या में शिवभक्त कांवड़ यात्रा के दौरान गुजरते हैं। जिला प्रशासन ने स्पष्ट निर्देश दिए हैं कि कांवड़ यात्रा मार्ग पर स्थित दुकानदार या रेस्टोरेंट संचालक एक ही स्थान पर शाकाहारी और मांसाहारी दोनों प्रकार का भोजन नहीं बेच सकेंगे।
प्रशासन का कहना है कि इससे यात्रा के दौरान धार्मिक सौहार्द और साफ-सफाई बनी रहेगी। अक्सर देखा गया है कि कांवड़ यात्रा के दौरान श्रद्धालु जब इन मार्गों से गुजरते हैं, तो मांसाहारी भोजन की गंध और दृश्य से उनकी धार्मिक भावनाएं आहत होती हैं। ऐसे में इस बार प्रशासन ने पहले से ही सख्ती बरतते हुए यह दिशा-निर्देश जारी कर दिए हैं।
इसके अलावा, सभी संबंधित विभागों को आदेश दिया गया है कि वे सुनिश्चित करें कि कांवड़ मार्ग पर मांस-मछली की दुकानें बंद रहें। साथ ही, सड़क किनारे सफाई व्यवस्था बनाए रखने के भी निर्देश दिए गए हैं।
यह कदम श्रद्धालुओं की आस्था को सम्मान देने और यात्रा को शांतिपूर्ण बनाने के लिए उठाया गया है। स्थानीय प्रशासन ने दुकानदारों से सहयोग की अपील की है ताकि किसी प्रकार की अशांति या विवाद की स्थिति न बने।
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