
Up Kiran , Digital Desk: मनोरंजन जगत में ऐसे कई सितारे हैं जिन्होंने बहुत कम उम्र में अपने सपनों की उड़ान भरनी शुरू कर दी थी। नींद में से एक हैं सुप्रिया जोशी, चॉकलेट रियलिटी शो 'सा रे गा' से अपनी पहचान बनाई। बचपन में करियर की शुरुआत करने वाली सुप्रिया ने न सिर्फ अपनी गायकी से दिल जीता, बल्कि अब उन्होंने संगीत प्रेमियों के लिए एक नया मुकाबला भी पेश किया है - 'लोकधुन कैफे'।
'लोकधुन कैफे' के जरिए फोक म्यूजिक को नया मंच दिया गया है
'लोकधुन कैफे' एक अनूठा फोकस बैंड शो है, जिसे सुप्रिया जोशी ने भारतीय लोक संगीत को नई पहचान दिलाने के मकसद से शुरू किया है।
इस परियोजना के माध्यम से देश के कोने-कोने से लोकधुनों को आधुनिक संगीत के साथ पेश किया जाएगा।
सुप्रिया का सपना है कि भारत के अनसुने लोक संगीत और धुनों को वैश्विक स्तर पर पहचाना जाए।
हाल ही में लंदन में आयोजित एक सांस्कृतिक कार्यक्रम में अपनी महान विचारधारा से लेकर राष्ट्रवादी रही सुप्रिया अब अपने इस नए मिशन को लेकर काफी उत्साहित हैं।
क्या है 'लोकधुन कैफे' का ठिकाना?
सुप्रिया जोशी का 'लोकधुन कैफे' युवा पीढ़ी और पारंपरिक संगीत के बीच की दूरी को कम करने की एक शानदार कोशिश है:
हर राज्य की अनमोल लोकधारा को चुनकर आधुनिक संगीत शैलियों के साथ पेश किया जाएगा।
इस परियोजना के लिए गहरे अनुसंधान की योजना बनाई गई है ताकि वास्तविक लोक संगीत की आत्मा को बरकरार रखा जा सके।
फोक म्यूजिक को नए बेसमेंट के फ्लेवर के साथ इस तरह पेश किया गया है कि यंगस्टर्स भी इसे एन्जॉय कर सकते हैं।
यह सबसे पहले ना केवल लोककलाकारों को एक बड़ा मंच प्रदान करता है, बल्कि भारतीय संगीत की समृद्ध विरासत को भी दुनिया के सामने नए संगीत में पेश करता है।
रियलिटी शो से बनी चमकदार पहचान
सुप्रिया जोशी ने 'सा रे गा मा पा' के मंच से अपने इतिहास की नींव रखी थी।
शो में उन्हें न दर्शकों से सिर्फ प्यार मिला बल्कि जजेस का भी भरपूर समर्थन मिला।
बॉलीवुड के मशहूर सिंगर म्यूजिक और डायरेक्टर हिमेश रेशमिया की टीम में हिस्सा लेने का मौका भी सुप्रिया को इसी शो से मिला था।
शो में अपनी दमदार गायिका से छा जाने के बाद, सुप्रिया ने म्यूजिक इंडस्ट्री में कई शानदार गाने गाए और धीरे-धीरे-धीर खुद को एक पहचान दी जो आज उन्हें सबसे अलग पहचान देती है।
'लोकधुन कैफे' से सुप्रिया का नया अध्याय
संगीत के इस नए सफर में सुप्रिया जोशी अब सिर्फ एक कलाकार नहीं बल्कि एक निर्माता के रूप में सामने आई हैं, जो भारतीय लोकसंस्कृति को नई जान देने का सपना देख रही हैं।
उनकी यह कोशिश न सिर्फ भारतीय फोक म्यूजिक को ग्लोबल स्टेज पर ले जाएगी, बल्कि लोककलाकारों को भी उनकी सही पहचान दिलाएगी।
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