
Up Kiran, Digital Desk: देश की तिजोरी की चाबियां अब एक और काबिल अधिकारी के हाथ में हैं। T.C.A. कल्याणी ने भारत के नए लेखा महानियंत्रक (Controller General of Accounts - CGA) के रूप में पदभार संभाल लिया है। यह पद बहुत महत्वपूर्ण है, क्योंकि यह देश के पूरे हिसाब-किताब की निगरानी करता है। लेकिन T.C.A. कल्याणी की पहचान सिर्फ इस बड़े पद से नहीं है। उनकी असली पहचान है एक ऐसे "गेम-चेंजिंग" सुधार से, जिसका फायदा आज देश का हर आम नागरिक उठा रहा है।
कौन हैं T.C.A. कल्याणी?
कल्याणी भारतीय सिविल लेखा सेवा (Indian Civil Accounts Service) के 1991 बैच की एक अनुभवी अधिकारी हैं। उन्होंने सरकार में कई महत्वपूर्ण पदों पर काम किया है, लेकिन उनका सबसे बड़ा और सबसे क्रांतिकारी काम रहा है प्रत्यक्ष लाभ हस्तांतरण (Direct Benefit Transfer - DBT) योजना की शुरुआत करना।
याद कीजिए, उन्होंने क्या बदला?
एक समय था जब सरकार गरीबों के लिए कोई योजना (जैसे- गैस सब्सिडी, स्कॉलरशिप, पेंशन) का पैसा भेजती थी, तो वह कई हाथों से गुजरता था। इस प्रक्रिया में भ्रष्टाचार की बहुत गुंजाइश होती थी और अक्सर जरूरतमंद तक पूरा पैसा पहुंच ही नहीं पाता था।
T.C.A. कल्याणी उन प्रमुख अधिकारियों में से एक थीं, जिन्होंने इस पूरी व्यवस्था को बदलने का बीड़ा उठाया। उन्होंने उस टीम में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई जिसने DBT योजना का खाका तैयार किया और उसे जमीन पर उतारा।
DBT: उनकी सोच, आपका फायदा
DBT एक ऐसी व्यवस्था है जिसमें सरकार किसी योजना का पैसा सीधे लाभार्थी के बैंक खाते में भेजती है। बीच में कोई बिचौलिया नहीं, कोई दलाल नहीं। इसका नतीजा यह हुआ कि:
भ्रष्टाचार पर लगी लगाम: पैसा सीधे खाते में पहुंचने से हेराफेरी की गुंजाइश खत्म हो गई।
तेजी और पारदर्शिता: योजना का लाभ लोगों तक पहले से कहीं ज्यादा तेजी से और पूरी पारदर्शिता के साथ पहुंचने लगा।
आज जब आपके खाते में गैस सब्सिडी का पैसा आता है, या किसी किसान को पीएम-किसान योजना का पैसा मिलता है, तो इसके पीछे T.C.A. कल्याणी जैसे अधिकारियों की ही दूरदर्शी सोच और मेहनत है।
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