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Up Kiran, Digital Desk: बिहार विधानसभा इलेक्शन से पहले मतदान में एक नई क्रांति आने वाली है। देश का पहला राज्य बनने की ओर बढ़ते बिहार में अब मोबाइल फोन के जरिए भी वोटिंग की सुविधा मिल सकती है। ये जानकारी बिहार के राज्य चुनाव आयुक्त, दीपक प्रसाद ने हाल ही में दी। यह पहल पहले से ही पटना, रोहतास और पूर्वी चंपारण के छह नगर परिषदों में आगामी मतदान से जुड़ी चर्चा का हिस्सा बन चुकी है, हालांकि अभी यह तय नहीं है कि आगामी विधानसभा चुनावों में यह व्यवस्था लागू होगी या नहीं।
कौन कर पाएगा मोबाइल वोटिंग
राज्य चुनाव आयुक्त ने बताया कि यह सुविधा खासतौर पर उन लोगों के लिए है जो विभिन्न कारणों से मतदान केंद्र तक नहीं पहुंच पाते। इसमें वरिष्ठ नागरिक, दिव्यांगजन, गर्भवती महिलाएं और दूसरे राज्यों में रहने वाले मतदाता शामिल हैं। वोटिंग के लिए आवश्यक है कि मतदाता के मोबाइल फोन में एक विशेष ऐप इंस्टॉल हो। इसके जरिए वे आसानी से मतदान कर सकेंगे। जून माह में राज्य चुनाव आयोग द्वारा इस ई-वोटिंग सुविधा के प्रति जागरुकता अभियान भी चलाया गया था।
तकनीकी पहलू और ऐप की जानकारी
दीपक प्रसाद ने बताया कि इस सुविधा का लाभ उठाने के लिए मतदाताओं को "E-SECBHR" नामक ऐप इंस्टॉल करना होगा। इसके बाद मतदाता अपने मोबाइल नंबर को मतदाता सूची से लिंक करेंगे। फिलहाल यह ऐप केवल एंड्रॉयड प्लेटफॉर्म पर उपलब्ध है। इस ऐप को सेंटर फॉर डेवलपमेंट ऑफ एडवांस कंप्यूटिंग ने विकसित किया है, जबकि बिहार चुनाव आयोग का भी एक अलग ऐप है।
सुरक्षा व्यवस्था पर खास ध्यान
ई-वोटिंग को लेकर छेड़छाड़ की चिंताएं स्वाभाविक हैं, इसलिए चुनाव आयोग ने सुरक्षा को लेकर व्यापक प्रबंध किए हैं। एक मोबाइल नंबर से केवल दो पंजीकृत मतदाता ही लॉग इन कर पाएंगे, जिससे दुरुपयोग की संभावना कम होगी। मतदान की पुष्टि मतदाता पहचान पत्र के आधार पर होगी। जिन मतदाताओं के पास स्मार्टफोन नहीं है, वे आयोग की वेबसाइट पर भी वोट डाल सकेंगे।
डिजिटल सुरक्षा के उपाय
चुनाव आयुक्त ने बताया कि डिजिटल सुरक्षा को सुनिश्चित करने के लिए ब्लॉकचेन तकनीक, फेस मैचिंग और स्कैनिंग जैसी आधुनिक तकनीकों का उपयोग किया जाएगा। इससे मतदाता की पहचान और वोटिंग की प्रक्रिया पूरी तरह सुरक्षित रहेगी। इसके अलावा, वीवीपीएटी मशीन की तरह एक ऑडिट ट्रेल भी रखा जाएगा, जो मतदान प्रक्रिया में पारदर्शिता बढ़ाएगा।
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