YES BANK के बाद अब एक और बड़े बैंक पर आई आफत, टेंशन में ग्राहक

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नई दिल्ली॥ पंजाब एण्ड महाराष्ट्र को-ऑपरेटिव बैंक और YES BANK के डूबने के कगार पर पहुंचने के बाद कर्नाटक बैंक के ग्राहकों की चिंता बढ़ गई है। कर्नाटक बैंक ने जमाकर्ताओं को उनके पैसे की सुरक्षा के प्रति आश्वस्त करते हुए बुधवार को कहा कि उसका आधार मजबूत है और उसके पास आवश्यकता के लिए पूंजी पर्याप्त मात्रा में है। बैंक ने कहा कि जमाकर्ताओं को घबराने की कोई आवश्यकता नहीं है।

बैंक के प्रबंध निदेशक एवं मुख्य कार्यकारी अफसर महाबलेश्वर एम.एस. ने एक बयान में कहा कि हम बैंक की आंतरिक नीति के अंतर्गत संपत्तियों पर भारित जोखिम के लिए पूंजी पर्याप्तता अनुपात रिजर्व बैंक द्वारा तय सीमा से ऊपर बनाए हुए हैं। ऑडिट की गई बैलेंस शीट के हिसाब से 31 मार्च 2019 को यह अनुपात 13.17 प्रतिशत था।

उन्होंने कहा कि बैंक 96 साल से ज्यादा वक्त से परिचालन में है और यह देश भर के 1.1 करोड़ से ज्यादा संतुष्ट ग्राहकों के भरोसे पर निर्मित है। बैंक की बुनियाद मजबूत है, बैंक के पास पर्याप्त पूंजी है और बैंक का प्रबंधन पेशेवर तरीके से किया जा रहा है। महाबलेश्वर ने ग्राहकों से कहा कि वे टेलीविजन या सोशल मीडिया पर बैंक के बारे में आ रही भ्रामक खबरों से भ्रमित न हों। कर्नाटक बैंक से पहले आरबीएल बैंक और करुर वैश्य बैंक ने भी इसी तरह का बयान जारी कर ग्राहकों को आश्वस्त करने की कोशिश की है।

प्राइवेट सेक्टर के करूर वैश्य बैंक (केवीबी) ने बुधवार को ‘बुनियादी रूप से मजबूत’ होने का दावा किया। बैंक का कहना है कि उसका पूंजी आधार ठीक है और वह एक लाभ कमाने वाला बैंक है। YES BANK संकट के बाद उसे लेकर चल रही विभिन्न अफवाहों के बीच बैंक ने यह बयान जारी किया गया है। इससे पहले दिन में आरबीअएल बैंक ने भी इसी प्रकार का बयान जारी किया था।

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करूर वैश्य बैंक ने एक बयान में कहा कि केवीबी के पास पर्याप्त पूंजी है। उसका पूंजी और जोखिम भारित संपत्ति का अनुपात (सीआरएआर) 15.87 प्रतिशत है। जबकि नियामकीय दृष्टि से इसे 10.875 प्रतिशत होना चाहिए। ये निरंतर लाभ में रहने वाला बैंक है। अपने 104 साल के इतिहास में बैंक निरंतर लाभ में रहा है।’

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