Delhi Election 2025: दिल्ली में चुनावी प्रक्रिया का आगाज हो चुका है, जिसमें 5 फरवरी को मतदान होगा और 8 फरवरी को परिणामों की घोषणा की जाएगी। आम आदमी पार्टी (AAP) पिछले चुनावों में मजबूत स्थिति में रही है, जबकि कांग्रेस की स्थिति निराशाजनक है और भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) केजरीवाल को हटाने की कोशिश कर रही है। मुस्लिम मतदाता इस चुनाव में एक महत्वपूर्ण भूमिका निभाएंगे, क्योंकि दिल्ली की कुल जनसंख्या में 12.9% मुस्लिम हैं।
2013 में कांग्रेस ने 6 सीटें जीती थीं, लेकिन 2015 में मुस्लिम वोट AAP की ओर मुड़ गए, जिससे कांग्रेस का वोट शेयर 18% गिर गया। 2020 के चुनाव में भी AAP ने सभी 11 सीटों पर विजय प्राप्त की थी।
इस बार भी मुस्लिम वोट AAP के पक्ष में जाने की संभावना है, लेकिन इसका निर्भरता कांग्रेस के चुनावी प्रचार और उम्मीदवारों पर होगा। AIMIM, असदुद्दीन ओवैसी की पार्टी, भी दिल्ली में चुनावी मैदान में है और मुस्लिम बहुल क्षेत्रों में अपने उम्मीदवार खड़े करने की योजना बना रही है, जिससे AAP और कांग्रेस को नुकसान हो सकता है। कुल मिलाकर कहे तो मुस्लिमों की वजह बीजेपी को फायदा हो सकता है।
दिल्ली की कुछ प्रमुख विधानसभा सीटें जहां मुस्लिम मतदाताओं की संख्या अधिक है, उनमें सीलमपुर (50%), मटिया महल (48%), और ओखला (43%) बल्लीमारान (38 %) शामिल हैं।
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