(गाजियाबाद में हुई वारदात)
गाजियाबाद में इंजीनियरिंग की छात्रा की दुखद मौत ने परिजनों को बुरी तरह हिला दिया है। तीन दिनों तक जिंदगी से संघर्ष करने के बाद आखिरकार कीर्ति सिंह ने दम तोड़ दिया। एक्शन में आई पुलिस ने आरोपी जितेंद्र उर्फ जीतू को मुठभेड़ में मार गिराया है। एक आरोपी को पुलिस ने पहले ही गिरफ्तार कर लिया था। दिल्ली-लखनऊ हाईवे पर मसूरी थाना क्षेत्र में डासना फ्लाईओवर के पास बदमाशों ने वारदात की। बता दें कि हापुड़ के पन्नापुरी में रहने वाले लोको पायलट रविंद्र सिंह की बेटी कीर्ति एबीईएस इंजीनियरिंग कॉलेज में बीटेक कंप्यूटर साइंस प्रथम वर्ष की छात्रा थी। शुक्रवार को वह साढ़े चार बजे सहपाठी दीक्षा संग कॉलेज से निकली और ऑटो में घर जाने के लिए बैठी थी।
रिपोर्ट के अनुसार, 27 अक्टूबर को दो बाइक सवार आरोपियों ने इंजीनियरिंग छात्रा कीर्ति सिंह से उसका मोबाइल छीनने की कोशिश की। आरोपी जब कीर्ति से मोबाइल छीनने की कोशिश कर रहे थे तो उसने उनका विरोध किया। इसी दौरान वह ऑटो-रिक्शा से गिर गई। उसके सिर में गहरी चोटें आईं थी। सीधे सड़क पर सिर लगने से कीर्ति के ब्रेन में फ्रैक्चर हो गया था। कीर्ति की एक सर्जरी की गई थी। तभी से वह कोमा में थी। उसे वेंटिलेटर पर रखा गया था। रविवार को उसका रक्तचाप ऊपर-नीचे होता रहा और ऑक्सीजन का स्तर भी घटा।
चिकित्सकों का कहना है कि काफी प्रयास के बाद भी उसे बचाया नहीं जा सका। सिर में घातक चोट लगने के कारण कीर्ति ने रात को दम तोड़ दिया। उसे फौरन एक स्थानीय अस्पताल में भर्ती कराया गया। जहां इलाज के दौरान रविवार को उसकी मौत हो गई। इस मामले में पुलिस ने कार्रवाई करते हुए आरोपी बोबिल उर्फ बलबीर नामक मुख्य आरोपी को मुठभेड़ के बाद गिरफ्तार कर लिया था। मुठभेड़ में बलबीर के पैर में गोली लग गई।
हालांकि उसका साथी जितेंद्र बाइक चला रहा था। वह मौके से भागने में सफल रहा था। उसे आज पुलिस ने मुठभेड़ में मार गिराया। वहीं, डीसीपी ग्रामीण विवेक ने एसएचओ मसूरी रविंद्र चंद पंत को निलंबित कर मसूरी थाने में तैनात इंस्पेक्टर तनवीर आलम और पुनीत कुमार को लाइन हाजिर किया है।
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