अगर आपका भी है इस बैंक में पैसा तो जल्दी निकाल लें, हमेशा के लिए बंद हुआ ये बैंक

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नई दिल्ली॥ भारत में बैंकिंग सर्विसों को घर-घर पहुंचाने के लिए रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया ने वर्ष 2015 में पेमेंट बैंक की शुरुआत की थी। इस बैंक के लाइसेंस के लिए देश की 41 कंपनियों ने रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया को आवेदन दिया था लेकिन उनमें से केवल 11 को लाइसेंस जारी किए गए।

इन्‍हीं पेमेंट बैंकों में से एक वोडाफोन m-pesa का कार्यकाज ठप हो गया है। ऐसे में अब वोडाफोन m-pesa के उपभोक्ताओं को एक निश्चित अवधि तक अपने पेमेंट बैंक से रुपया निकाल लेने होंगे। दरअसल, वोडाफोन ने स्वेच्छा से पेमेंट बैंक m-pesa को लिक्विडेट यानी बंद करने का आवेदन दिया था। इसके बाद अब रिजर्व बैंक ने वोडाफोन m-pesa के आवंटित अधिकार प्रमाणपत्र (सीओए) को रद्द कर दिया है।

रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया के इस कदम के बाद कंपनी प्रीपेड भुगतान से जुड़े कार्य नहीं कर सकेगी। इसका मतलब ये हुआ कि पेमेंट बैंक का कामकाज बंद हो गया है। हालांकि, ग्राहकों या व्यापारियों का भुगतान प्रणाली परिचालक (पीएसओ) के रूप में कंपनी के ऊपर कोई वैध दावा है तो वे सीओए रद्द होने के 3 साल के अंदर दावा कर सकते हैं।

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जाहिर सी बात है कि जनता को इस डेडलाइन तक अपने हर तरह के दावों को निपटा लेना होगा। यहां आपको बता दें कि बीते वर्ष आदित्य बिड़ला आइडिया पेमेंट बैंक लिमिटेड (एबीआईपीबीएल) ने भी आरबीआई को लिक्‍विडेट करने का आवेदन दिया था।

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