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यूपी किरण डेस्क। अनंत आकाश में होने वाली घटनाओं को लेकर मानव मन में हमेशा से कौतुहल रहा है। मनुष्य आसमान या अंतरिक्ष में होने वाली गतिविधियों का अध्ययन भी करता रहा है। सूर्य ग्रहण एवं चंद्र ग्रहण पर तो अनेक दिलचस्प कहानियां भी हैं। अगर हम सूर्य ग्रहण की बात करें तो यह हर 18 महीने में पृथ्वी के किसी न किसी हिस्से में लगता है। आठ अप्रैल को पड़ने वाले सूर्य ग्रहण को लेकर दुनिया भर माँ कौतुहल है। उत्तरी अमेरिका के कुछ हिस्सों में पूर्ण सूर्य ग्रहण होगा और चार मिनट नौ सेकंड तक पूरी तरह से अंधेरा छा जाएगा।
उल्लेखनीय है कि यह पूर्ण सूर्य ग्रहण पिछले सूर्य ग्रहणों की तुलना में काफी लंबा है। इस पूर्ण सूर्य ग्रहण की अहमियत है कि इसे अमेरिका, कनाडा और मैक्सिको में एक साथ देखने को मिलेगा। लाखों लोग इस घटना को अपनी आँखों से देख सकेंगे। जानकारी के मुताबिक़ अमेरिका के उत्तरी कैरोलिना में एनसी स्टेट यूनिवर्सिटी ग्रहण का वन्य जीवों पर पड़ने वाले प्रभाव का अध्ययन करेगी। इस प्रयोग में टेक्सास राज्य चिड़ियाघर में 20 जानवरों के व्यवहार का अध्ययन किया जाएगा।
सूर्य ग्रहण के कारण पूर्ण अंधेरे के दौरान जानवरों की आवाज़ और जानवरों की प्रतिक्रियाओं को माइक्रोफ़ोन के जरिये रिकॉर्ड किया जाएगा। इसी तरह नासा का एक्लिप्स साउंडस्केप प्रोजेक्ट भी जानवरों के व्यवहार का अध्ययन करने के लिए डिज़ाइन किया गया है। इसी तरह वर्जीनिया में नासा के वॉलॉप्स बेस से तीन साउंडिंग रॉकेट, एक्लिप्स बेल्ट से दूर लॉन्च किए जाएंगे। ये रॉकेट सूर्य ग्रहण के दौरान वातावरण में होने वाले परिवर्तनों को रिकॉर्ड करेंगे।