महराजगंज। भारत में बनी कोरोना की वैक्सीन (Indian Vaccine) इतनी सुरक्षित और कारगर है कि इसकी मांग लगातार पूरी दुनिया में हो रही है। वहीं प्रदेश में कोविड टीकाकरण का ग्राफ बढ़ाने के लिए एक खास रणनीति पर भी कार्य हो रहा है। यह कहना है राज्य टीकाकरण अधिकारी डॉ अजय घई का।डॉ घई बुधवार को सेंटर फॉर एडवोकेसी एंड रिसर्च (सीफार) के सहयोग से आयोजित राज्यस्तरीय मीडिया कार्यशाला को संबोधित कर रहे थे।
राज्य टीकाकरण अधिकारी ने बताया कि हमारी वैक्सीन (indian vaccine) से अभी तक किसी भी तरह के बड़े दुष्प्रभाव की बात सामने नहीं आई है। उन्होने बताया कि 18 फरवरी को फ्रंट लाइन कर्मियों को टीका लगेगा। 50 वर्ष से अधिक आयु वर्ग को भी यह टीका (indian vaccine) अगले माह से लगना शुरू हो जायेगा। डॉ घई ने बताया कि नई रणनीति के तहत अब फ्रंट लाइन कर्मियों को पात्र लाभार्थियों की सूची दी जाएगी ताकि वह पात्र लाभार्थी से संपर्क कर सकें। इसके साथ ही टीका लगवाने के लिए पात्र लोगों कोविड कमांड सेंटर्स से भी एसएमएस भेजा जाएगा। उन्होने बताया कि फिर भी यदि किसी को एसएमएस नहीं मिला है।
तो वह अपने जिले के किसी भी सत्र में जाकर अपना फोन नंबर देकर टीका (Indian Vaccine) लगवा सकता है। इस बीच यदि किसी कर्मचारी की तैनाती अन्य जिले में हो जाती है तो उनके लिए इंटर डिस्ट्रिक्ट पोर्टेबिलिटी सिस्टम के जरिये उनको टीका से प्रतिरक्षित किया जाएगा। उन्होने बताया कि यूपी के कुछ जिलों में कोविड टीकाकरण करीब 90 प्रतिशत हुआ है वहीं कहीं पर यह आंकड़ा 16 प्रतिशत ही है।
नेटवर्क समस्या, पात्र लोगों के नाम एक मोबाइल नंबर पर ही फीड होने और सर्वर में खराबी आने आदि से टीकाकरण का ग्राफ बहुत उत्साहजनक नहीं है। इसके लिए कई दिशा में प्रयास किए जा रहे हैं। उन्होने बताया कि टीकाकरण (Indian Vaccine) के लिए कई ऐसे लोग भी पंजीकृत हैं जो कि पात्र नहीं हैं। जैसे कि गर्भवती, धात्री महिलाएं आदि। उन्होने उम्मीद जताई है कि अगले सत्र में इसके सकारात्मक परिणाम दिखेंगे।
डॉ घई ने बताया कि फिलहाल कोरोना का संक्रमण सरकार और जनसहयोग से कम तो हुआ है लेकिन कई देशों में अब भी यह संक्रमण उच्चस्तर पर है। ऐसे में इस वैश्विक महामारी से बचने के लिए हम सभी को और सावधान होने की जरूरत है। उन्होने बताया कि स्वास्थ्य विभाग से कई ऐसे लोग टीका (Indian Vaccine) लगवाने की सिफ़ारिश कर रहे हैं जिनकी अभी बारी ही नहीं आई है लेकिन वह जल्द से कोविड टीका से प्रतिरक्षित होना चाहते हैं।
उन्होने अपील की है कि बिना किसी लापरवाही के नियत दिवस पर टीका (Indian Vaccine) लगवाएं। टीका लगने के बाद यदि कोई प्रतिकूल प्रभाव दिखता है तो कोविड-19 कंट्रोल रूम के हेल्प-लाइन नंबर 05498-220827 या प्रदेश हेल्प लाइन नंबर 104 पर सम्पर्क करें।
डॉ पियाली भट्टाचार्य, वरिष्ठ बाल रोग विशेषज्ञ, एसजीपीजीआई ने बताया कि अन्य देशों में हर तीन संक्रमित बच्चों में से एक बच्चे को आईसीयू की जरूरत पड़ रही है। वहीं भारत में भी बच्चों के संक्रमित होने की पुष्टि हुई है जिनमें कि वयस्कों के बराबर ही संक्रमण है। अपने यहां कितने बच्चे संक्रमित हैं इस पर अभी और काम होना है। (Indian Vaccine)
इसलिए खतरा अभी टला नहीं है। उन्होने बताया कि अब स्कूल भी खुल गए हैं। इनमें ऐसे बच्चे भी होंगे जिनको कोविड का लक्षण नहीं है लेकिन वह कोविड मरीज के संपर्क में रहे हैं या फिर वह तथा उनके परिजन अधिकांश समय पर यात्रा पर रहे हैं। ऐसे बच्चों को स्कूल नहीं जाना चाहिए।
यदि जाते भी हैं तो आरटीपीसीआर जांच करवा कर ही जाएं। (Indian Vaccine) इस मौके पर केजीएमयू के रेस्पेरेट्री विभाग के विभागाध्यक्ष डॉ सूर्य कान्त ने कोविड टीकाकरण के बाद शरीर में होने वाले प्रभाव के बारे में विस्तारपूर्वक समझाया। उन्होने बताया कि इस टीकाकरण के बाद सामान्य तौर पर थकान, बुखार आना कोई साइड इफेक्ट नहीं बल्कि यह उसके प्रभाव को दिखाता है। (Indian Vaccine)
Indian Vaccine लगवाने से पहले लगाने वाले को अपने स्वास्थ्य के बारे में पूरी जानकारी दें। हम तभी सुरक्षित हो पाएंगे जब समुदाय में हर्ड इम्युनिटी डेवलप हो जाए। इसके लिए 60 से 70 प्रतिशत लोग टीका लगवाना अनिवार्य है। उन्होने कहा कि अब इस कोविड टीकाकरण अभियान को हम सभी को जश्न के रूप में मनाना चाहिए। लेकिन इस जश्न में कोविड-19 के प्रोटोकाल का पालन अवश्य करें। होली नजदीक है। कृपया छोटे समूहों में ही त्योहार मनाएं। इस मौके पर यूएनडीपी डॉ अहमद अब्बास आगा और यूनिसेफ के डॉ प्रफुल भारद्वाज ने टीकाकरण पर सवालों के जवाब दिये। Indian Vaccine