नागरिकता कानून को लेकर देशभर में हिंसा हो रही है, जिसके वजह से लोगो को खासी दिक्कत का सामना करना पड़ रहा है. वहीँ आपको बता दें कि सरकार अपने इस कानून वाले कदम से टस से मस होने का नाम नहीं ले रही थी. कई लोगों का कहना है कि सरकार और उसके अधिकारी इस स्थिति का आकलन सही तरीके से नहीं लगा पाए. जिसकी वजह से ऐसी स्थिति सामने आ गई है. लेकिन माना जा रहा है कि अब सरकार को इस कानून लाने के वजह से झारखंड चुनाव में बाद झटका लगने वाला है.
गौरतलब है कि आईएएनएस-सीवोटर-एबीपी एग्जिट पोल राज्य के 81 विधानसभा क्षेत्रों के 38,000 मतदाताओं से बातचीत के आधार पर है। एग्जिट पोल में झारखंड में हुए सभी पांच चरणों के मतदान को शामिल किया गया है।
एग्जिट पोल के अनुसार, भारतीय जनता पाटीर् के 28 से 36 सीटें जीतने की उम्मीद है, जो 2014 की 37 सीटों से कम है। विपक्षी झारखंड मुक्ति मोचार्-कांग्रेस-राष्ट्रीय जनता दल के गठबंधन को 31 से 39 सीटों के बीच मिल सकती है। इस तरह से अगर यही स्थिति रही तो सरकार बनाने में आजसू और जेवीएम जैसे क्षेत्रीय दलों की भूमिका काफी बढ़ जाएगी। सी-वोटर के यशवंत देशमुख ने कहा कि अगर भाजपा को 30 से कम सीटें मिलती हैं तो पार्टी के लिए सरकार बनाना मुश्किल होगा, क्योंकि उन्हें पार्टी के पूर्व नेता और मुख्यमंत्री बाबूलाल मरांडी व सहयोगी रहे सुदेश महतो से समर्थन की उम्मीद नहीं है।