तेज बहादुर यादव मामले पर लालू और मुलायम चुप क्यों

img

नई दिल्ली ।। पूरे देश में सैनिक तेज बहादुर यादव के गिरफ्तार किए जाने और गुम हो जाने की खबरें चलती ही रही हैं, लेकिन अब उसके मौत की खबर भी सोशल मीडिया पर चलने लगी है। इसको लेकर भ्रम इस लिए बना हुआ है, क्योंकि यदि तेज बहादुर जिंदा है, तो उसे केंद्र सरकार उसके परिजनों से मिलने क्यों नहीं दे रही है। तेजू से लोगों के मिलने पर रोक क्यों है। इसको लेकर एक सवाल और उठ रहा है मुलायम और लालू यादव का बयान इस पर अभी तक क्यों नहीं आया। जबकि वह यादव समाज के देश स्तर के नेता बनते हैं।

रक्षा मंत्री रहते हुए मुलायम सिंह यादव ने सैनिकों के शव को उनके घर पहुंचने जैसा काम किया, जिसे हर कोई मानता है, लेकिन उनकी ही जाति बिरादरी का एक सैनिक केवल इस लिए परेशान किया जा रहा है, क्योंकि उसने सेना में आम सैनिकों के खराब खाने और उनकी सेहत का मुद्दा उठाया, तो उसे नजरबंद कर दिया गया। इस पूरे मुद्दे पर यादवों के नेताओं ने अभी तक कोई बयान नहीं दिया है।

मोदी से कान में बात करते हैं तो टेलीफोन पर भी बात करें मुलायम

अखिल भारतीय पिछड़ा वर्ग के अध्यक्ष वीरेंद्र कुमार मौर्या कहते हैं कि इसकी यदि सैनिक की मौत नहीं हुई है, तो फौरन उसके परिवार वालों से मिलवाया जाना चाहिए। यादवों के सबसे बड़े नेता मुलायम सिंह यादव और लालू यादव बनते हैं, उनका अभी तक इस पर बयान क्यों नहीं आया। मुलायम सिंह यादव मंच पर मोदी से उनके कान में बात करते हैं, तो इस मुद्दे पर भी टेलीफोन से बात करनी चाहिए।

गौरतलब है कि कुछ माह पहले सीमा पर तैनात एक बीएसएफ जवान ने खाने की गुणवत्ता पर सवाल उठाया और वीडियो साझा कर कहा कि बीएसएफ में जवानों को अच्छा खाना नहीं दिया जाता है। बीएसएफ ने जांच बिठाई और आरोपों को नकार दिया, लेकिन अब यह बात सामने आ रही है कि पाकिस्तान में सोशल मीडिया पर यह बताया जा रहा है कि भारत में यह शिकायत करने वाले जवान की मौत हो चुकी है। वहीं, बीएसएफ ने सोशल मीडिया पर जवान तेज बहादुर यादव की मौत की तस्वीरों को पूरे तौर पर खारिज कर दिया है।

हालांकि बीएसएफ ने कहा है कि तेज बहादुर यादव पूरी तरह स्वस्थ हैं। दरअसल सोशल मीडिया पर घूम रही कुछ तस्वीरों में बीएसएफ में खान-पान की शिकायत करने वाले जवान तेज बहादुर की मौत की झूठी खबर प्रचारित की जा रही है। इन तस्वीरों में तेजबहादुर को चोटें लगी हुईं भी नज़र आ रही हैं।

फोटोः तस्वीर में मृत व्यक्ति को लेकर यूपी किरण कोई दावा नहीं करता है। 

Related News