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यूपी किरण ब्यूरो

लखनऊ।। योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व में सरकार बनने के बाद ये ऐलान हुआ था की राज्य की सभी सड़कों को 15 जून तक गड्ढा मुक्त कर दिया जायेगा। हालांकि ये समय सीमा भी तीन बार बढ़ाई गयी। फिर सरकार की ओर से लोक निर्माण मंत्री केशव प्रसाद मौर्या द्वारा घोषणा की गयी कि प्रदेश की 70 फीसदी सड़कें गड्ढा मुक्त हो चुकी हैं।

लेकिन जमीनी हक़ीक़त कुछ और ही है। इसका एहसास विभाग को तब हुआ जब कई जिलों में सड़कों के गड्ढामुक्त न होने की शिकायतें आने लगीं। गड्ढा मुक्त करने में अब तक 800 करोड़ खर्च भी हो चुके हैं। सूत्रों की मानें तो अब विभाग की ऑंखें खुली हैं और विभागाध्यक्ष वीके सिंह ने फैसला लिया है कि एक विशेष कैम्पेन चलाकर सड़कों की रियलिटी चेक कराई जाएगी। यह अभियान 21 अगस्त से 30 अगस्त तक चलेगा।

इस विशेष कैम्पेन के लिए हेडक्वार्टर से 10 टीमें रवाना की जाएंगी, टीमों की अगुवाई चीफ इंजीनियर या एसई करेंगे। जिसमे से एक टीम की अगुवाई खुद विभागाध्यक्ष वीके सिंह करेंगे।

बताते चलें कि सरकार द्वारा की गयी घोषणा के मुताबिक 15 जून तक पीडब्ल्यूडी समेत अन्य 8 डिपार्टमेंट्स को कुल 1,21,034 किमी सड़क को गड्ढामुक्त करना था, लेकिन 15 जून तक करीब 72 हजार किमी सड़क ही गड्ढामुक्त हो पाई थीं।

अब इसमें 44 हजार किमी से ज्यादा की सड़क के खिलाफ शिकायतें आ चुकीं है। इस रियलिटी चेक में शिकायत के सही मिलने की दशा में सम्बंधित ठेकेदारों हुए अफसरों के विरुद्ध कार्यवाही की जाएगी।

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