Up kiran,Digital Desk : पंजाब में जिला परिषद और पंचायत समिति चुनाव की तस्वीर अब साफ होने लगी है। नामांकन पत्रों की जांच (छंटनी) के बाद अलग-अलग कारणों से 1405 उम्मीदवारों के पर्चे रद्द कर दिए गए हैं। इस बीच, फिरोजपुर में कांग्रेसी उम्मीदवारों ने सत्ता पक्ष पर उनके नामांकन जबरन रद्द करवाने का आरोप लगाते हुए धरना शुरू कर दिया है, जिससे चुनावी माहौल गरमा गया है।
शनिवार को नाम वापसी का आखिरी दिन है, जिसके बाद ही यह अंतिम रूप से तय हो पाएगा कि चुनावी मैदान में कौन-कौन से उम्मीदवार बचे हैं।
आंकड़ों में देखें कहां कितने पर्चे हुए खारिज
चुनाव आयोग के आंकड़ों के मुताबिक, दोनों चुनावों के लिए उम्मीदवारों में भारी उत्साह देखने को मिला, लेकिन जांच के दौरान बड़ी संख्या में नामांकन खारिज भी हुए:
- जिला परिषद: इसके लिए कुल 1865 नामांकन दाखिल हुए थे। जांच के बाद 140 पर्चे रद्द कर दिए गए, जबकि 1725 उम्मीदवार योग्य पाए गए हैं।
- पंचायत समिति: पंचायत समिति चुनावों को लेकर जबरदस्त उत्साह देखने को मिला, जहां 12,354 लोगों ने पर्चा भरा था। इनमें से 1265 नामांकन खारिज कर दिए गए और 11,089 नामांकन सही पाए गए हैं।
फिरोजपुर में सियासी पारा चढ़ा
फिरोजपुर में चुनावी प्रक्रिया ने उस वक्त राजनीतिक रंग ले लिया, जब नामांकन रद्द होने से नाराज कांग्रेसी उम्मीदवार धरने पर बैठ गए। उन्होंने ग्रामीण विकास अधिकारी (BDO) के दफ्तर के बाहर प्रदर्शन करते हुए आरोप लगाया कि अधिकारी जानबूझकर उनके सही भरे हुए नामांकन पत्रों पर आपत्ति लगाकर उन्हें रद्द कर रहे हैं।
कांग्रेस उम्मीदवारों का सीधा आरोप है कि यह सब कुछ स्थानीय विधायक के इशारे पर किया जा रहा है, ताकि उन्हें चुनाव लड़ने से रोका जा सके और सत्ता पक्ष के उम्मीदवारों को फायदा पहुंचाया जा सके। इस धरने के बाद स्थानीय प्रशासन पर निष्पक्षता बनाए रखने का दबाव बढ़ गया है।
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