img

आजकल फैटी लिवर और लिवर से जुड़ी बीमारियां तेजी से बढ़ रही हैं, जो वास्तव में चिंता का विषय बन चुकी हैं। अगर आप चाहते हैं कि आपका लिवर लंबे समय तक स्वस्थ और सुचारु रूप से काम करता रहे, तो इसके शुरूआती लक्षणों को समझना और समय रहते उन्हें पहचानना बेहद जरूरी है।

लिवर शरीर का वह अहम अंग है जो खून को फिल्टर करता है और शरीर से विषैले तत्वों को बाहर निकालता है। यही वजह है कि इसकी देखभाल को लेकर किसी भी प्रकार की लापरवाही भारी पड़ सकती है।

पेट में दिखने वाले संकेत

क्या आपको अक्सर पेट में सूजन या भारीपन महसूस होता है?

क्या आपकी भूख अचानक कम हो गई है या खाना खाने का मन नहीं करता?

अगर इनमें से कोई भी लक्षण आपके साथ हो रहा है, तो यह लिवर की खराब सेहत का शुरुआती संकेत हो सकता है। एक और गंभीर इशारा यह हो सकता है कि आपकी पेशाब का रंग सामान्य से गहरा हो गया हो। इस संकेत को नजरअंदाज न करें, क्योंकि यह शरीर में टॉक्सिन्स के बढ़ने की ओर इशारा करता है।

एनर्जी लेवल में गिरावट और सुस्ती

अगर आप पहले की तुलना में जल्दी थकने लगे हैं, हमेशा सुस्ती महसूस करते हैं या नींद की अत्यधिक आवश्यकता महसूस होती है, तो ये संकेत भी लिवर की सेहत पर असर का नतीजा हो सकते हैं। कई बार लिवर की कमजोरी के चलते शरीर में ऊर्जा का संचार ठीक से नहीं हो पाता, जिससे थकान और कमजोरी महसूस होती है।

इसके अलावा, नाक से बार-बार खून आना भी लिवर के क्षतिग्रस्त होने की तरफ संकेत कर सकता है, जिसे हरगिज नजरअंदाज नहीं करना चाहिए।

वजन में गिरावट और पाचन से जुड़ी समस्याएं

बिना किसी कोशिश के अचानक वजन घटने लगना

बार-बार उल्टी आना या मतली महसूस होना

स्किन का रंग पीला पड़ना

ये सभी लक्षण गंभीर लिवर डैमेज की तरफ इशारा कर सकते हैं। जब लिवर ठीक से काम नहीं करता, तो यह शरीर के अन्य अंगों और कार्यप्रणालियों पर भी असर डालता है। त्वचा का पीला पड़ना यानी पीलिया जैसे लक्षण, लिवर की क्षतिग्रस्त स्थिति का सीधा प्रमाण हो सकते हैं।

मनोवैज्ञानिक प्रभाव और मूड स्विंग्स

शरीर के साथ-साथ लिवर की खराबी मानसिक स्थिति पर भी असर डाल सकती है। मूड स्विंग्स, चिड़चिड़ापन या सामान्य से अलग व्यवहार भी लिवर से जुड़ी गड़बड़ियों का नतीजा हो सकता है। जब लिवर टॉक्सिन्स को सही तरीके से प्रोसेस नहीं करता, तो ये रासायनिक असंतुलन दिमाग पर असर डाल सकते हैं।

क्या करना चाहिए?

अगर उपरोक्त में से एक या एक से अधिक लक्षण लगातार बने हुए हैं, तो डॉक्टर से परामर्श लेना बहुत जरूरी है। इसके अलावा, खानपान सुधारें, प्रोसेस्ड फूड और एल्कोहल से दूरी बनाएं, और नियमित व्यायाम व योग को दिनचर्या में शामिल करें।

लिवर को नुकसान पहुंचाने वाली चीजों से जितना हो सके बचें और शरीर के इन संकेतों को नजरअंदाज न करें। क्योंकि समय रहते अगर आपने इन लक्षणों को पहचान लिया, तो गंभीर बीमारियों से बचना संभव है।