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Up Kiran, Digital Desk: भारत से अमेरिका तक अवैध तरीके से लोगों को भेजने वाले एक बड़े मानव तस्करी रैकेट का भंडाफोड़ हुआ है। राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआईए) ने इस गोरखधंधे में शामिल दो आरोपियों के खिलाफ आरोपपत्र दाखिल कर दिया है।
दिल्ली और हिमाचल के रहने वाले इन आरोपियों पर डंकी रूट के जरिए लोगों को अमेरिका भेजने, हवाला के जरिए पैसे मंगाने और गैरकानूनी हिरासत जैसे गंभीर आरोप हैं।
कौन हैं आरोपी?
एनआईए के अनुसार, गिरफ्तार किए गए व्यक्तियों में सनी, जो धर्मशाला (हिमाचल प्रदेश) का निवासी है और शुभल संधाल उर्फ दीप हुंडी, जो दिल्ली के पीरागढ़ी का रहने वाला है, मुख्य भूमिका निभा रहे थे।
इनकी गिरफ्तारी गगनदीप सिंह उर्फ गोल्डी की दिल्ली के तिलक नगर में गिरफ्तारी के कुछ महीनों बाद हुई थी। गोल्डी को इस गिरोह का मास्टरमाइंड माना जाता है।
मेक्सिको, हवाला और भारत – तस्करी का ग्लोबल नेटवर्क
सनी 2021 से 2023 तक मेक्सिको में रह रहा था। वहां से उसने गोल्डी और अन्य सहयोगियों के साथ मिलकर लोगों को अमेरिका भेजने की साजिश को अंजाम दिया।
वो न सिर्फ अवैध सीमा पार कराने में शामिल था, बल्कि लोगों को गैरकानूनी हिरासत में रखने तक से भी जुड़ा था। बदले में उसे हवाला और बैंक ट्रांसफर के जरिए मोटी रकम मिलती थी।
भारत लौटने के बाद भी सनी ने इस नेटवर्क को संचालित किया। वो डंकी रूट पर भेजने, पैसे का प्रबंधन करने और लॉजिस्टिक सपोर्ट का जिम्मा संभालता था।
हवाला का मास्टर – दिल्ली का संदल
दिल्ली के शुभम संधाल इस तस्करी गिरोह का हवाला ऑपरेटर था। वह भारत में रहने वाले ग्राहकों से पैसे इकट्ठा करता और उन्हें हवाला नेटवर्क के ज़रिए विदेश भेजता।
शुभम ने भारत, मेक्सिको और अमेरिका में फैले इस रैकेट के लिए अवैध फंड ट्रांसफर और मैनेजमेंट का काम संभाला।
अभी भी कई आरोपी फरार
एनआईए की जाँच में सामने आया है कि यह गिरोह लोगों को वैध वीजा के झूठे वादे करके अमेरिका भेजने का सपना दिखाता था। लेकिन बाद में उन्हें खतरनाक डंकी रूट से भेजा जाता था, जिसमें जान का जोखिम होता है।
एनआईए ने इस नेटवर्क को तोड़ने के लिए आगे की जांच शुरू कर दी है और अन्य आरोपियों की तलाश जारी है।