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Up Kiran, Digital Desk: पिछले कुछ समय से आईटी सेक्टर, खासकर टाटा कंसल्टेंसी सर्विसेज (TCS), में बड़े पैमाने पर कर्मचारियों की छंटनी (layoffs) की खबरें चल रही थीं, जिससे कर्मचारियों के बीच डर और अनिश्चितता का माहौल था। इन अटकलों पर अब खुद TCS ने विराम लगा दिया है। कंपनी ने एक बड़ा बयान जारी कर साफ किया है कि उसका छंटनी का कोई फिक्स टारगेट नहीं है।

TCS ने इन खबरों को खारिज करते हुए कहा है कि यह कोई अचानक की जाने वाली छंटनी नहीं है, बल्कि कर्मचारियों के काम का सालाना मूल्यांकन (annual performance evaluation) करने की एक सामान्य प्रक्रिया है।

तो फिर किन लोगों की जाएगी नौकरी: कंपनी ने यह स्पष्ट किया यह प्रक्रिया पूरी तरह से प्रदर्शन पर आधारित है। इसका मतलब है कि केवल उन कर्मचारियों को कंपनी से जाने के लिए कहा जा सकता जिनका प्रदर्शन लगातार खराब रहा है और जो कंपनी के मानकों पर खरे नहीं उतर पाए हैं।

TCS के एक प्रवक्ता ने कहा, "यह कोई खास या अचानक लिया गया फैसला नहीं ਹੈ। हम हर साल अपने कर्मचारियों के काम का मूल्यांकन करते हैं। यह उसी सामान्य प्रक्रिया का हिस्सा है।"

हमारा दृष्टिकोण मानवीय रहेगा: कंपनी ने इस बात पर भी जोर दिया है कि यह पूरी प्रक्रिया बहुत सावधानी और मानवीय दृष्टिकोण (careful and empathetic approach) के साथ की जाएगी। कंपनी का यह बयान उन हजारों कर्मचारियों को राहत देने की एक कोशिश है, जो नौकरी जाने की खबरों से चिंतित थे।

संक्षेप में, TCS यह कह रही है कि वह किसी तय संख्या में कर्मचारियों को नहीं निकाल रही ਹੈ, बल्कि यह कंपनी की एक नियमित सालाना प्रक्रिया है, जिसके तहत सिर्फ खराब प्रदर्शन करने वालों पर ही कार्रवाई हो सकती है। इस बयान का मकसद छंटनी की अफवाहों पर रोक लगाना और कर्मचारियों के बीच फैले डर को कम करना है।