
Up Kiran, Digital Desk: आंध्र प्रदेश के एक जिला कलेक्टर ने हाल ही में आर्थिक विकास के लिए एक महत्वपूर्ण सूत्र बताया है: एक मजबूत औद्योगिक आधार। उन्होंने जोर देकर कहा कि किसी भी क्षेत्र की आर्थिक तरक्की और समृद्धि के लिए उद्योगों का विकास बेहद ज़रूरी है।
कलेक्टर के अनुसार, औद्योगिक विकास न केवल रोजगार के नए अवसर पैदा करता है, बल्कि यह क्षेत्र के समग्र विकास को भी गति देता है। खासकर युवाओं के लिए, यह उनके भविष्य को सुरक्षित करने और उन्हें आत्मनिर्भर बनाने का एक बड़ा माध्यम है। उद्योगों के पनपने से स्थानीय अर्थव्यवस्था मजबूत होती है, लोगों की आय बढ़ती है, और जीवन स्तर में सुधार आता है।
उन्होंने सरकार की भूमिका पर भी प्रकाश डाला। उनका कहना था कि सरकार को उद्योगों को स्थापित करने और फलने-फूलने के लिए अनुकूल माहौल बनाना चाहिए। इसमें बेहतर बुनियादी ढाँचा, निवेश को आकर्षित करने वाली नीतियां और व्यापार करने में आसानी सुनिश्चित करना शामिल है। कलेक्टर ने इस बात पर भी जोर दिया कि लघु, सूक्ष्म और मध्यम उद्यम (MSMEs) आर्थिक विकास की रीढ़ होते हैं, क्योंकि ये अक्सर स्थानीय स्तर पर बड़े पैमाने पर रोजगार सृजन में अहम भूमिका निभाते हैं।
कलेक्टर ने कुशल कार्यबल (skilled workforce) की आवश्यकता पर भी जोर दिया। उन्होंने कहा कि उद्योगों की बढ़ती मांग को पूरा करने के लिए युवाओं को सही कौशल प्रशिक्षण देना ज़रूरी है, ताकि वे उद्योगों की ज़रूरतों के हिसाब से तैयार हो सकें।
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