Up Kiran, Digital Desk: त्योहार और हमारी आस्था का रिश्ता बहुत गहरा है. हर साल जब कार्तिक मास आता है, तो मन में एक अलग ही शांति और उत्साह छा जाता है. और क्यों न छाए, आखिर यही वो पवित्र महीना होता है जब देव-दर्शन और दीप प्रज्ज्वलन का खास महत्व होता है! इस बार भी आंध्र प्रदेश में कार्तिक दीपम महोत्सव (Kartik Deepam Mahotsav) की छटा देखते ही बन रही थी. हर जगह बस दीपों की जगमगाहट और भक्तों का उल्लास महसूस हो रहा था. ऐसा लगा मानो आकाश के तारे धरती पर उतर आए हों, और पूरा वातावरण भक्ति और सकारात्मक ऊर्जा से सराबूर हो गया हो.
अद्भुत था दीपों का ये महापर्व!
पूरे आंध्र प्रदेश में, खासकर मंदिरों और प्रमुख स्थलों पर, कार्तिक दीपम महोत्सव को बड़े ही भव्य और दिव्य तरीके से मनाया गया. हज़ारों-लाखों दीपकों की लौ जब एक साथ रोशन हुई, तो नजारा देखने लायक था. हर छोटे-बड़े मंदिर में भक्तों की भीड़ उमड़ पड़ी थी, हर कोई अपनी श्रद्धा और भक्ति के साथ दीप प्रज्ज्वलित कर रहा था.
- पवित्रता और श्रद्धा का संगम: लोग अलसुबह उठकर पवित्र स्नान कर रहे थे और साफ-सुथरे वस्त्र धारण कर मंदिर पहुंच रहे थे. ऐसा माना जाता है कि कार्तिक मास में दीप जलाने से न सिर्फ पाप धुल जाते हैं, बल्कि जीवन में सुख-समृद्धि भी आती है.
- मंत्रों और भजनों की गूंज: चारों ओर "हर हर महादेव" और "ओम नमो नारायणाय" के जयघोष सुनाई दे रहे थे. मंदिर परिसर भजनों और आरती की दिव्य ध्वनि से गूंज रहे थे.
- महा दीपम का प्रज्ज्वलन: कई बड़े मंदिरों में विशाल 'महा दीपम' (Maha Deepam) प्रज्ज्वलित किए गए. इन महा दीपमों को जलाने का विशेष महत्व होता है और भक्तगण इसके दर्शन के लिए दूर-दूर से आते हैं.
- सांस्कृतिक कार्यक्रम और प्रसाद वितरण: कुछ जगहों पर भजन संध्या, धार्मिक प्रवचन और अन्य सांस्कृतिक कार्यक्रम भी आयोजित किए गए, जिससे माहौल और भी भक्तिमय हो गया. प्रसाद वितरण की व्यवस्था भी हर जगह की गई थी, ताकि कोई भी भक्त खाली हाथ न लौटे.
कार्तिक दीपम क्यों है इतना खास?
कार्तिक का महीना भगवान शिव (Lord Shiva) और भगवान विष्णु (Lord Vishnu) दोनों के लिए बहुत प्रिय माना जाता है. इस दौरान दीप जलाने से अंधकार दूर होता है और ज्ञान का प्रकाश फैलता है. ऐसी मान्यता है कि कार्तिक दीपम की रात दीप जलाने से घर में मां लक्ष्मी (Maa Lakshmi) का वास होता है और सभी नकारात्मक शक्तियां दूर हो जाती हैं. इस महापर्व ने न सिर्फ आध्यात्मिक शांति दी, बल्कि लोगों को एक साथ आने, अपनी परंपराओं का जश्न मनाने और प्रेम व भाईचारे का संदेश देने का अवसर भी दिया. वाकई, आंध्र प्रदेश में मनाया गया ये कार्तिक दीपम महोत्सव हमेशा के लिए एक यादगार और मनमोहक अनुभव बन गया.

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