
Up Kiran, Digital Desk: आंध्र प्रदेश कांग्रेस कमेटी (APCC) की अध्यक्ष वाईएस शर्मिला रेड्डी ने पार्टी को राज्य भर में मजबूत करने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम उठाया है। रविवार को आयोजित एक समीक्षा बैठक में, उन्होंने नव नियुक्त कार्यकारी अध्यक्षों जे.डी. सीलम और मस्तान वली को राज्य के उत्तरी और दक्षिणी क्षेत्रों की कमान सौंपी है। इस नियुक्ति का मुख्य उद्देश्य आंध्र प्रदेश में कांग्रेस पार्टी की उपस्थिति को मजबूत करना और जमीनी स्तर पर पार्टी संगठन को सक्रिय करना है। यह कदम आगामी चुनावों के मद्देनजर कांग्रेस की रणनीति का एक अहम हिस्सा माना जा रहा है।
क्षेत्रीय प्रभारियों की नियुक्ति: पार्टी विस्तार की नई रणनीति:वाईएस शर्मिला रेड्डी ने इस महत्वपूर्ण बैठक में जे.डी. सीलम को उत्तरी आंध्र प्रदेश क्षेत्र का प्रभारी नियुक्त किया है, जबकि मस्तान वली अब दक्षिणी आंध्र प्रदेश क्षेत्र की जिम्मेदारी संभालेंगे। इस पुनर्गठन के तहत, जे.डी. सीलम गुंटूर, कृष्णा, एलुरु, पश्चिम गोदावरी, पूर्वी गोदावरी, डॉ. बी.आर. अंबेडकर कोनासीमा, काकीनाडा, अनाकापल्ली, विशाखापत्तनम, विजयनगरम, श्रीकाकुलम, पार्वतीपुरम मान्यम और अल्लूरी सीताराम राजू जिलों का नेतृत्व करेंगे। वहीं, मस्तान वली एनटीआर, बापटला, पलनाडु, प्रकाशम, नंद्याल, कुरनूल, अनंतपुरम, वाईएसआर कडपा, श्री सत्य साई, अन्नमय्या, एसपीएस नेल्लोर, तिरुपति और चित्तूर जिलों की देखरेख करेंगे। यह राज्यव्यापी पुनर्गठन पार्टी के कैडरों में नया जोश भरने और संगठन को अधिक प्रभावी बनाने के लिए किया गया है।
पार्टी को मजबूती देने का रोडमैप:शर्मिला रेड्डी ने बैठक में कहा, "मैंने आज एपीसीसी कार्यकारी अध्यक्षों जे.डी. सीलम और मस्तान वली के साथ एक समीक्षा बैठक की।" उन्होंने आगे कहा, "बैठक के दौरान, मैंने उन्हें राज्य में पार्टी को मजबूत करने के लिए उठाए जाने वाले उपायों पर एक स्पष्ट रोडमैप प्रदान किया।" यह राजनीतिक रणनीति पार्टी के भीतर समन्वय को बढ़ाने और विभिन्न क्षेत्रों में एक समान उपस्थिति सुनिश्चित करने पर केंद्रित है। इस बैठक में एआईसीसी सचिव गणेश यादव और एपीसीसी महासचिव मूसांनी श्रीनिवास रेड्डी भी मौजूद रहे, जो पार्टी के राष्ट्रीय और राज्य स्तरीय नेताओं के बीच समन्वय को दर्शाते हैं।
आंध्र प्रदेश में कांग्रेस की वापसी की राह:गौरतलब है कि आंध्र प्रदेश कांग्रेस कमेटी राज्य में अपनी खोई हुई जमीन वापस पाने के लिए लगातार प्रयास कर रही है। पिछले कुछ वर्षों में पार्टी के प्रदर्शन में गिरावट देखी गई है, और इन नियुक्तियों के माध्यम से पार्टी संगठन को मजबूत करने और जनता से जुड़ाव बढ़ाने का लक्ष्य है। वाईएस शर्मिला रेड्डी के नेतृत्व में, पार्टी नए सिरे से रणनीति बना रही है ताकि वह राज्य की राजनीति में एक मजबूत विकल्प के रूप में उभर सके। कांग्रेस पार्टी का यह कदम आंध्र प्रदेश की राजनीति में नई हलचल मचाने की उम्मीद है, जहाँ क्षेत्रीय दलों का दबदबा रहा है।
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