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ज्योतिषशास्त्र के अनुसार किसी भी जातक की कुंडली में मंगल ग्रह का सबसे अहम स्थान होता है। ग्रहों का शुभ फल मिलने पर व्‍यक्ति में हमेशा असीम ऊर्जा, शक्ति और पराक्रम बरकरार रहता है। ऐसे जातक को भूमि, भाई आदि का हमेशा सुख प्राप्त होता है। वह अपने दम पर समाज में मान-सम्मान प्राप्त करता है लेकिन इस ग्रह के कमजोर होने पर व्यक्ति को अपने सगे भाईयों के भी विरोध का सामना करना पड़ता है। अचल सम्पत्ति, जमीन-जायदाद की प्राप्ति में तमाम तरह की अड़चनें आती हैं। ऐसे जातक को गुस्सा भी बहुत ज्यादा आता है और उसे अल्सर, फोड़े फुन्सी आदि रोग होने का भी खतरा भी बना रहता है। अगर आपके साथ भी कुछ ऐसा ही हो रहा तो आपको किसी ज्योतिषी से सलाह लेकर मंगल ग्रह की शुभता दिलाने वाला मूंगा रत्न को धारण करना चाहिए। आइए जानते हैं मूंगा रत्न को पहनने की विधि और नियम।

कैसे करें मूंगा रत्न की पहचान

मूंगा रत्न को धारण करने से पहले यह जरूर देख लें कि वह चटका या पहले से इस्तेमाल न किया गया हो। साथ ही उसकी शुद्धता जांचने के लिए आप उसे दूध में रखें। अगर उसमें से लाल रंग का प्रकाश नजर आए तो आप समझ लीजिये कि मूंगा सच्चा है। असली मूंगे को अगर धूप में किसी कागज पर रखेंगे तो उसमें अग्नि पैदा होगी।

मूंगा रत्न धारण करने की विधि

मंगल के रत्न को न सिर्फ धारण करने के लिए बल्कि इसे खरीदने के लिए भी शुभ दिन होना चाहिए। ज्योतिष के अनुसार मूंगा रत्न को मंगलवार के दिन खरीदना शुभ होता है। इसके बाद इसे सोने की अंगूठी में कम से कम सवा चार या सवा आठ रत्ती का बनवाकर पहनना चाहिए।

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