नई दिल्ली॥ साउथ थाईलैंड में मंगलवार रात को एक समन्वित हमले अंजाम दिया गया। इसमें न्यूनतम 14 लोग मारे गए और कई जख्मी हो गए। शुरुआती जांच के बाद हमलों के लिए मुस्लिम विद्रोहियों को जिम्मेदार बताया जा रहा है। इसके बारे में सेना की राजनीतिक शाखा ने ये सूचना दी।
आंतरिक सुऱक्षा संचालन कमान के एक अफसर ने बुधवार को मीडिया को बताया कि विद्रो़हियों ने हथियारों के साथ याला प्रांत में 3 सुरक्षा चौकियों पर हमला किया। उन्होंने कहा कि घटना की जांच की जा रही है। वहीं, अभी तक घायलों के संख्या की पुष्टि नहीं की जा सकी है।
हमले के एक दिन बाद तक किसी भी विद्रोही ग्रुप द्वारा हमलों का दावा किया जाना बाकी है, जैसा कि खासतौर पर इस इलाके में होता है। सुरक्षा बलों के 40 हजार सदस्यों की तैनाती और राज्यों में आपातकाल और मार्शल लॉ के बावजूद पत्ता़नी, याला और नरथिवाट के साउथ प्रांतों में हमले और हत्याएं आम हैं।
निगरानी संगठन डीप साउथ वॉच के अनुमान के मुताबिक, मुस्लिम अलगाववादी आंदोलन के 2004 में सशस्त्र संघर्ष फिर से शुरू होने के बाद से इस क्षेत्र में 7,000 से अधिक लोग मारे गए हैं।
जनजातीय मुस्लिम मलय विद्रोही जो इस क्षेत्र में बहुसंख्यक हैं वे बौद्ध सरकार के अंतर्गत भेदभाव का आरोप लगाते हैं। साथ ही, अधिक स्वायत्तता और यहां तक कि 3 प्रांतों को एकीकृत करने वाले एक स्वतंत्र राज्य के निर्माण की मांग करते हैं। उन्होंने पूर्व में पट्टानी सल्तनत का गठन किया था जिसे थाईलैंड ने 1909 में अपने में मिला लिया था।