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नई दिल्ली ।। बहुजन समाज पार्टी में एक बार फिर खुशी की लहर दौड़ रही है। दरअसल, बसपा में एक दिग्गज शामिल हुआ। जिससे कर्नाटक चुनाव में भाजपा का वोटबैंक खतरे में पड़ गया है।

आपको बता दें कि जनता दल(एस) के राष्ट्रीय अध्यक्ष एचडी देवेगौड़ा ने बीएसपी का दामन थाम लिया है और ऐसा शायद कर्नाटक की 6 करोड़ से ज्यादा आबादी में 17 प्रतीशत दलित मतों के होने की वजह से हुआ है।

कर्नाटक चुनाव में देवेगौड़ा मायावती के सहारे दलित वोट में सेंध लगाकर पार्टी को सरकार बनते समय वह किंगमेकर की भूमिका में देखना चाहते है।

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त्रिशंकु विधानसभा की स्थिति आने पर देवेगौड़ा पिता-पुत्र में कलह लाजमी है। क्योंकि देवेगौड़ा के पुत्र एवं पूर्व सीएम एचडी कुमारस्वामी कांग्रेस के वर्तमान सीएम सिद्दरमैया को बिलकुल भी पसंद नहीं करते है।

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सूबे में दलितों के मध्य रहकर कार्य करने वाले करीब 1900 संगठन हैं। जिन राजनीतिक दलों की जमीनी पकड़ मजबूत होती है, वे इन बिखरे हुए राजनीतिक दलों तक अपनी पहुंच बनाकर इनसे जुड़े मतदाताओं तक आसानी से पहुंच जाते हैं। वर्तमान स्थिति में ‘वन बूथ-25 यूथ’ योजना के तहत भाजपा यह पहुंच मजबूत करने में लगी है।

फोटोः फाइल

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