लखनऊ।। सीएम योगी आदित्यनाथ भले ही प्रदेश की कानून-व्यवस्था में सुधार की बातें कर रहे हों लेकिन हालात इतने बदतर हो गये हैं कि सचिवालय से चाँद कदमों की दुरी पर अति-संवेदनशील और सुरक्षित माने जाने वाले और राजधानी के मुख्य हजरतगंज चौराहा पर शनिवार की रात एक सनसनीखेज वारदात में भाजपा के पूर्व विधायक प्रेम प्रकाश उर्फ जिप्पी तिवारी के बेटे वैभव तिवारी की सरे आम गोली मारकर हत्या कर दी गई।
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जानकारी के मुताबिक वैभव हज़रतगंज स्थित कसमंडा हाउस के एक फ्लैट में रहता था। मिली जानकारी के अनुसार शनिवार की रात के करीब नौ बजे उसके पूर्व परिचित सूरज शुक्ला ने वैभव तिवारी को फोन कर मिलने के लिएये हजरतगंज चौराहे पर बुलाया जहां आपसी विवाद के बाद हुए झगड़े के बाद उसने वैभव के सीने में गोली मार दी।
सबसे ताज्जुब की बात ये रही कि इतनी बड़ी घटना घटने के बाद भी पुलिस को आधा घंटे तक वारदात की भनक तक नहीं लगी। सूचना पाकर भटकती हुयी लखनऊ पुलिस जब लोहिया अस्पताल पहुंची तो उसे वहां वैभव तिवारी का शव मिला।
वहीँ एसएसपी लखनऊ दीपक कुमार ने मामले की जानकारी देते हुए कहा कि प्रेम प्रकाश तिवारी उर्फ जिप्पी तिवारी सिद्धार्थनगर के डुमरियागंज क्षेत्र से विधायक रह चुके हैं। उनका बेटा यहां कसमंडा अपार्टमेंट में रहता था।
रात को वैभव का रिश्तेदार गोमतीनगर निवासी आदित्य उससे मिलने आया था। दोनों सड़क पर टहल रहे थे तभी सूरज शुक्ला का फोन आ गया। सूरज ने बिजनेस के सिलसिले में बातचीत के लिए उसे हजरतगंज चौराहा बुलाया।
दोनों टहलते हुये हज़रतगंज चौराहा पहुंचे जहां सूरज व उसका एक साथी खड़े थे। बातचीत के दौरान दोनों में किसी बात को लेकर तनातनी हो गई। सूरज ने गाली-गलौज की जिसका वैभव तिवारी ने विरोध किया। इस पर सूरज ने पिस्टल निकालकर तान दी।
वैभव ने उसे चेतावनी दी तो सूरज ने फायर कर दिया।गोली वैभव तिवारी के सीने पर लगी और वह चीखते हुये वहीं गिर पड़ा। इस बीच सूरज और उसका साथी वारदात को अंजाम देने के बाद मौके से भाग निकले।
आदित्य ने आस-पास के लोगों की मदद से वैभव तिवारी को कार पर लादा और लोहिया हॉस्पिटल ले गया। लेकिन रास्ते में ही उसने दम तोड़ दिया। जानकारी मिलते ही पूर्व विधायक व उनके परिवारीजन हॉस्पिटल पहुंच गये।
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